(War Iran and Israel-दुनिया):- इरान-इस्राइल दोनों देशों में युद्ध ड्रोन हमला शिया-सुन्नी समुदाय आमने-सामने इजरायल की युद्ध कैबिनेट ने शनिवार रात को एक महत्वपूर्ण निर्णय लिया है, जिसमें वह ईरान के खिलाफ मिसाइल और ड्रोन हमलों का जवाबी कार्रवाई करने का फैसला किया है। इस निर्णय का मुख्य उद्देश्य, जैसा कि रिपोर्ट में कहा गया है, यह है कि इजरायल अपने खिलाफ हुए हमलों के लिए बिना किसी प्रतिक्रिया के नहीं बैठेगा। इस निर्णय के पीछे के कारण के बारे में संदेश स्पष्ट है। इजरायल ने अपने सामरिक प्रतिस्पर्धात्मकता को प्रमाणित करने का इरादा किया है और यह स्पष्ट रूप से ईरान को यह संदेश भेजने का प्रयास कर रहा है कि वह इसके खिलाफ और हमले करने की कोशिश न करें।
इस वक्त ईरान और इस्राइल आमने-सामने हैं। दोनों देशों के
भ्रामक विज्ञापनों के चलते रामदेव एवं सहयोगी बालकृष्ण सुप्रीम कोर्ट में पेश
बीच बढ़ा तनाव दुनिया में एक और युद्ध की आहट दे रहा है।
1 अप्रैल को सीरिया में ईरानी दूतावास पर हुए हमले के बाद
ईरान ने इस्राइल पर हवाई हमले किए। ईरान और
इस्राइल बीते कई दिनों से आमने-सामने हैं।
तनाव की शुरुआत 1 अप्रैल को हुई जब सीरिया स्थित ईरानी दूतावास पर किया हवाई हमला
इस हमले में ईरानी रिवोल्यूशनरी गार्ड्स कॉर्प्स (आईआरजीसी) के अल-कुद्स बल के एक वरिष्ठ कमांडर सहित कम से कम 11 लोगों की मौत हो गई। ये सभी दमिश्क दूतावास परिसर में एक बैठक में भाग ले रहे थे। इस निर्णय के परिणामस्वरूप, इजरायल की सामरिक शक्ति और निर्णायकता को पुनः साबित किया जाएगा। इसके अलावा, यह भी दूसरे देशों को इस संदेश के बारे में सोचने पर मजबूर करेगा कि इजरायल को उनके खिलाफ हुए हमलों का सहना नहीं होगा। इससे पहले भी, इजरायल और ईरान के बीच तनाव बढ़ चुका है, और इस निर्णय से यह स्पष्ट होता है कि दोनों देशों के बीच युद्धीय संघर्ष की स्थिति जारी रहेगी।