15 वर्ष तक के बच्चों का प्रदेश में टीकाकरण

रायपुर जैपनीज इंसेफेलाइटिस से बचाव के लिए 7.72 लाख बच्चों को लगाए गए टीके बीजापुर, दंतेवाड़ा, बस्तर, कोंडागांव और धमतरी घोषित हैं जैपनीज इंसेफेलाइटिस इन्डेमिक फरवरी-2021 से इन पांचों जिलों में जैपनीज इंसेफेलाइटिस का टीका नियमित टीकाकरण में शामिल

जैपनीज इंसेफेलाइटिस से बचाव के लिए इस साल पांच जिलों के सात लाख 72 हजार बच्चों को टीके लगाए गए हैं। जैपनीज इंसेफेलाइटिस की रोकथाम के लिए बीजापुर, दंतेवाड़ा, बस्तर, कोंडागांव और धमतरी जिले में एक वर्ष से 15 वर्ष तक के बच्चों का प्रदेश में एक साथ पहली बार टीकाकरण किया गया है। इन पांचों जिलों को भारत सरकार द्वारा जैपनीज इंसेफेलाइटिस इन्डेमिक (Japanese Encephalitis Endemic) घोषित किया गया है।

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बच्चों को इस बीमारी से सुरक्षित रखने के लिए इस वर्ष फरवरी माह से जैपनीज इंसेफेलाइटिस

टीके को नियमित टीकाकरण कार्यक्रम में शामिल किया गया है।

बीजापुर, दंतेवाड़ा, बस्तर, कोंडागांव और धमतरी जिले में नौ माह से 11 माह के बच्चों को

नियमित रूप से लगने वाले टीकों के साथ यह टीका भी लगाया जाएगा। प्रदेश के पांच जिलों में

जैपनीज इंसेफेलाइटिस से बचाव के लिए सात लाख 90 हजार बच्चों को टीका लगाने का लक्ष्य रखा

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गया था। इनमें से करीब 98 प्रतिशत यानि सात लाख 72 हजार से अधिक बच्चों को टीका लगाया

जा चुका है। लोक स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण मंत्री टी.एस. सिंहदेव ने 23 नवम्बर 2020 को

जैपनीज इंसेफेलाइटिस टीकाकरण का ऑनलाइन शुभारंभ किया था। राज्य टीकाकरण अधिकारी

डॉ. अमर सिंह ठाकुर ने बताया कि जैपनीज इंसेफेलाइटिस टीकाकरण आभियान के दौरान बस्तर

जिले में दो लाख 52 हजार 813, बीजापुर में 73 हजार 335, दंतेवाड़ा

में 86 हजार 314, कोंडागांव में एक लाख 61 हजार 484 और धमतरी में एक

लाख 98 हजार 099 बच्चों को टीका लगाया गया है। राष्ट्रीय स्वास्थ्य मिशन, छत्तीसगढ़ द्वारा पांचों जिलों में टीकाकरण दलों का गठन कर कोविड-19 महामारी को देखते हुए इससे बचाव के अनुकूल व्यवहार (Covid-19 Appropriate Behavior) का पालन करते हुए यह सघन अभियान संचालित किया गया।

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